Wednesday, May 18, 2022

एलिमेंट्स


 इस सोसाइटी से सटे गाँव में कोरोना के एक दो केस मिले हैं, सो उधर का रास्ता बंद कर दिया गया है. यहाँ भी कोरोना का पहला केस मिला है आज. देश में कोरोना संक्रमित की संख्या पचास हजार हो गयी है और विश्व में एक करोड़. आज का रविवार विशेष है ! आज योग दिवस, पितृ दिवस, संगीत दिवस, सेल्फी दिवस के साथ-साथ सूर्य ग्रहण भी लगा और वर्ष का बड़ा दिवस भी है आज.  सुबह जब टहलने गए तो आकाश में बादलों के पीछे से तारागण झाँक रहे थे. वापस आकर ‘सूर्य नमस्कार’ किया, जून ने वीडियो बनाया. दक्षिण भारतीय नाश्ता जब तक तैयार हुआ, बच्चे भी आ गये.  टीवी पर सूर्य ग्रहण के सुंदर चित्र देखे फिर  भारत व चीन की हाल की टकराहट पर एक वीडियो देखा. विशेष तौर पर जून के लिए नन्हे ने पालक की सब्जी बनायीं, कॉर्न व फूलगोभी के साथ, सोनू ओट्स व क्रेनबेरी की कुकीज़ बनाकर लायी थी.  शाम को वे चले गए. नैनी आयी तो उसके हाथ में चोट लगी थी, कहने लगी, सब्जी काटने में लग गयी, पर चोट देखकर ऐसा लगता नहीं था. हाथ सूज गया था, पता नहीं उसने इंजेक्शन भी लगवाया था या नहीं. उससे बिना पानी वाले काम ही करवाये. 

आज सुबह पतंजलि योग सूत्र पर गुरूजी का व्याख्यान सुना, बाद में ओशो का भी. इन सूत्रों में मन को कितनी अच्छी तरह समझाया गया है. रात तेज वर्षा हुई, एक बार नींद खुल गयी.याद आया. उस दिन स्वप्न में शालिग्राम पत्थर को हवा में उठते देखा था. उसी क्षण मन में विचार आया था, वे जीवित हैं ! परमात्मा हजार-हजार रूपों में अपने को प्रकट करता है, देखने वाली नजर चाहिए. कल बहुत दिनों बाद सहभोज होगा, कोरोना काल में यह विशेष घटना ही कही जाएगी, लन्च पर नंन्हे के कुछ मित्र भी आ रहे हैं, उसने कहा है वह अपने साथ कुक को भी ले आएगा. 


मौसम विभाग ने कल किसी तूफान की चेतावनी दी है. बाहर तेज हवा बह रही है. सुबह टहलने गए तो हल्की झींसी पड़ रही थी. कल एक पेड़ के नीचे गुड़हल की कलियाँ टूट कर गिरीं हुईं मिली थीं, उन्हें पानी में डाला कर रखा तो आज खिल गयीं. मंझली भाभी का जन्मदिन है आज, उनकी फरमाइश पर तुरन्त ताज़ी कविता लिखकर भेजी। आज एक हास्य फिल्म देखी, कोरोना के भय से बचने के लिए यह अच्छा उपाय है. परसों गुरू पूर्णिमा है, गुरूजी उसके बारे में एक कहानी सुना रहे हैं. गुरू जब जीवन में आते हैं तो सारे प्रश्न खो जाते हैं. कुछ चाहना या त्यागना मन से होता है, आंकना या निर्णय लेना बुद्धि से व ग्रहण करना या पकड़ना अहंकार से ! जब मन, बुद्धि और अहंकार के पीछे जा जाकर जब कोई थक जाता है तब स्वयं का ज्ञान होता है. जीवन में कृतज्ञता के क्षण भी आते हैं और शिकायत के भी, पर गुरू के पास आते ही ये सब गिर जाते हैं. गुरु एक अन्य ही आयाम से  परिचय करवाते हैं. 


Thursday, May 12, 2022

द लॉयन किंग

 

आज शाम को वे सोसाइटी के मुख्य द्वार की तरफ़ टहलने गए, जून जब तक बाहर से सब्ज़ी ख़रीद कर लाते, उसने फूलों की तस्वीरें उतारीं। घर पहुँचने के पाँच मिनट बाद ही मूसलाधार वर्षा आरंभ हो गयी, जाने कैसे कुदरत उन्हें हर बार सुरक्षित रखती आयी है। बालकनी में शीशे की छत के नीचे बैठ कर बारिश का एक वीडियो बनाया। आज स्वामी योगानंद जी पर एक डाक्यूमेंट्री फ़िल्म देखी। वर्षों पूर्व जब पहली बार उनकी पुस्तक पढ़ी थी तो मन प्राण एक अनोखे आनंद से भर गये थे। हफ़्तों तक उस पुस्तक का असर बना रहा था। आजकल सुबह-सुबह अनोखे स्वप्न आते हैं, एक दिन पहले एक साथ अनेक सुंदर चौपाये दिखे, फिर कीट और फिर विष्णु की सुंदर मूर्ति. एक दिन एक सुंदर महिला का चेहरा दिखा था, बिलुकल सजीव ! एक अन्य स्वप्न में वह किसी को बाबा कहकर संबोधित कर रही है. छोटे भाई से बात हुई, जो ओशो का साहित्य पढ़ता है. उसे नए-नए आनंददायक अनुभव होते हैं, वह बहुत खुश लग रहा था; उसका मन पूरी तरह परमात्मा के रंग में रंग गया है. 


कल सुबह नौ बजे नन्हा व सोनू आ गये और दिन भर उनके साथ रहे।  एक अच्छी फ़िल्म देखी, एक एनिमेशन फिल्म ‘द लायन किंग’, जिसमें शाहरुख़ खान ने भी आवाज दी है, सिम्बा की यह कहानी दिल को छू जाती है. कुछ बोर्ड गेम भी खेले और शाम को दूर तक टहलने गये। आज बड़ी भांजी की बिटिया के जन्मदिन पर ज़ूम मीटिंग थी। परिवार के छोटे-बड़े सभी सदस्यों ने अपनी शुभकामनायें दीं, उसने जन्मदिन पर एक कविता भेजी थी जो बालिका के नाना जी ने पढ़ी. आश्रम से सत्संग भी आजकल जूम पर ही होता है, तकनीक का कितना अच्छा उपयोग हो रहा है इस विपद काल में. आजकल हरसिंगार के फूल अपनी अनुपम छवि बिखेर रहे हैं, सुबह-सुबह सलेटी सड़क पर बिछे हुए सफेद पुष्पों की उसने कई तस्वीरें खींचीं। समाचारों में सुना असम में एक तेल कुएं में आग लग गयी है, स्थानीय स्तर पर उसे बुझा नहीं पाए तो सिंगापुर से एक विशेष टीम आयी है. नन्हे ने बताया, उनकी सोसाइटी को कन्टेनमेंट जोन बनाया जा सकता है. भारत में कोरोना के मरीजों की संख्या बढ़ती जा रही है. एक अनुमान के अनुसार भविष्य में चालीस-पचास लाख लोग संक्रमित हो सकते हैं. भारत-चीन के मध्य सीमा पर हालात बिगड़ रहे हैं, देखा जाये तो इस समय सारी दुनिया में हालात काबू से बाहर होते जा रहे हैं. आज कुछ घर छोड़कर रहने वाले एक नब्बे वर्षीय बुजुर्ग से बात हुई, वह कॉमर्स मंत्रालय में एडिशनल सेक्रेटरी रह चुके हैं. उनकी स्मरण शक्ति बहुत अच्छी है. उनके पास यादों का जैसे एक खजाना है. 


इस बार भी इतवार के कारण बच्चे दिन भर साथ रहे. नन्हे ने ‘स्टार वार’ सीरीज  की एक फिल्म दिखाई. शंकर जी की बारात में जैसे भूत-पिचाश आते हैं, ऐसे अजीबोगरीब शक्लों वाले पात्र हैं इस फिल्म में. दोपहर को सुशांत सिंह राजपूत की मृत्यु का समाचार मिला था. आज भी दिन भर वही खबरें आती रहीं. अवसाद और तनाव के शिकार लोग कितने दुखी हैं भीतर. अभिनेताओं का जीवन कितना अकेलेपन से भरा होता है. मौसम आज बहुत अच्छा है, शीतल पवन बह रही है, न बादलों का शोर न ज्यादा गर्मी ही. विष्णु पुराण में प्रह्लाद की कहानी देखी, उसने कहा, स्वर्ग में देवता, धरती पर मानव व पाताल में असुर रहें और कोई किसी की सीमा में प्रवेश न करे और सब आनंद से रहें. एक और सुंदर बात सुनी, सुबह जब सत गुण बढ़ा हो, मानव देवता बनकर साधना करें, दोपहर को रजो गुण बढ़ने पर मानव बनकर काम करें और रात को तमस में असुर बनकर नींद में सो जाएँ. असुरों का सोना ही लाभकारी है. कल जून को श्री श्री की रिसर्च लैब में जाना है. स्लीप लैब पर वर्क शॉप है. जहाँ ईईजी का इंस्टालेशन भी होना है. 


कल जून ने बाबा की सातवीं बरसी पर निकट स्थित एक वृद्धाश्रम में कुछ सामान भिजवाया. शाम को नर्सरी से बारह पौधे भी लाये. उनकी स्मृति में लगाए इन पौधों को देखकर उनके स्मरण होता रहेगा. नैनी ने एक माली को बुलवाया है, जिसने बहुत ही कुशलता से पौधों को लगा दिया, वह बेला का एक पौधा भी लाया है, जिसे छोटे से लॉन में एक किनारे पर लगा दिया है. माली अच्छा है पर उसे पीने की आदत है, पता नहीं कितने दिन टिकेगा. टीवी पर आज विरोचन और सुंधवा की कहानी देखी जिसमें दोनों एक ही कन्या दीपावली के प्रति आकर्षित हैं. भगवान विष्णु और महादेवी को भी उनकी कथा में रस आ रहा है. प्रेम की नींव पर ही तो यह संसार खड़ा है. परसों इस वर्ष का पहला पूर्ण सूर्यग्रहण है, पिछले हफ्ते एओएल के एक स्वामी की एक वार्ता सुनकर सूर्य ग्रहण पर एक  लेख लिखा था, जो अमर उजाला में छपा है. सूर्य ग्रहण के कारण होने वाले प्रभावों का विस्तार से वर्णन है उसमें.                




Wednesday, May 4, 2022

रैटटौइल




आज ईद है, कल ब्लॉग में ईद पर एक कविता प्रकाशित की थी। जून आज एओएल सेंटर गये, सेंटर सामान्य जनता के लिए अक्तूबर से पहले नहीं खुलेगा। उन्होंने उसके जन्मदिन पर सफ़ाई कर्मचारियों को बाँटने के लिए फ़ूड पैकेट्स का ऑर्डर दे दिया है। कल शाम के आँधी-तूफ़ान के बाद आज भी यहाँ वर्षा हो रही है। असम की तरह यहाँ भी देखते-देखते बादल छा जाते हैं, और बूंदा बांदी शुरू हो जाती है। तापमान तीस डिग्री से कम ही रहता है, हवा बहती रहती है. दिल्ली व उत्तर भारत में गर्मी बहुत अधिक है। चुरूँ में तापमान पचास डिग्री पहुँच गया, कोरोना वायरस को इतनी गर्मी में समाप्त हो जाना चाहिए, पर वह अपने पैर पसारता ही जा रहा है। श्रमिकों की समस्या भी विकराल रूप ले रही है, वे सभी अपने गाँव-घर जाना चाहते हैं। आज अख़बार में पढ़ा कोरोना की वैक्सीन आने से भी ज्यादा लाभ होने वाला नहीं है, इसका खतरा किसी न किसी रूप में बना ही रहेगा. वैसे अब सुबह शाम पार्कों में लोग मास्क लगाकर टहलते हुए मिलने लगे हैं. सुबह आम के बगीचे से ढेर सारे गिरे हुए आम मिले। जून ने आम की मीठी चटनी बनायी है। अगले हफ़्ते वे गोंद के लड्डू भी बनाने वाले हैं। अगले महीने की पहली तारीख़ से गुरूजी का ‘नारद भक्ति सूत्र’ पर व्याख्यान आरंभ हो रहा है। जीवन की नींव कितने वर्षों पहले रख दी जाती है और बाद में उस पर इमारत बनती है। वर्षों पूर्व उसने डायरी में लिखा था, मन की गहराई में अथाह, असीम प्रेम है ! भक्ति सूत्रों में गुरूजी उसी का वर्णन करने वाले हैं। आज का दिन बहुत ख़ास रहा, सुबह वे टहलने गए तो मोबाइल हाथ में था, सूर्योदय से पूर्व आकाश गुलाबी हो गया था, आकाश पर बादलों में अनोखे रंग बिखर रहे थे, सुंदर तस्वीरें उतारीं। यहाँ स्थिर छोटे से मंदिर गये, प्रसाद के लिए लड्डू थे, मंदिर से बाहर निकलते ही एक वृद्ध महिला दिखीं, जो प्रसाद पाकर अति प्रसन्न हुईं। परमात्मा ही मानो उन्हें उस क्षण उन्हें वहाँ ले आया था। नौ बजे तक नन्हा व सोनू भी आ गये। ज़ूम पर सभी परिवार जनों से बात हुई, दीदी व अन्य सभी ने जन्मदिन पर शुभकामनाएँ दीं। दोपहर को ‘रैटटौइल’ फ़िल्म देखी, जिसमें एक चूहा अपने शेफ़ बनने के सपने को पूरा करता है, बहुत ही अनोखी और मज़ेदार फ़िल्म है यह। शाम को सोनू ने केक को सजाकर प्रस्तुत किया। आज एओएल के दिनेश गोखले द्वारा बनाया गया ‘नारद भक्ति सूत्र’ का परिचयात्मक वीडियो देखा। अगले पंद्रह दिन अवश्य ही काफ़ी भरे-पूरे होंगे, परमात्मा की भक्ति से भरपूर ! आज दोपहर वाली नैनी काम पर नहीं आयी, हर हफ़्ते वह किसी न किसी बहाने से छुट्टी ले लेती है। सुबह वाली ऐसा नहीं करती, आज उसके बेटे का फ़ोन आ गया, दोनों बहुत खुश थे। रात्रि के साढ़े आठ बजे हैं, अभी-अभी फ़ेसबुक पर देखा, दीदी अपने जन्मदिन का केक काट रही हैं, जिसके मध्य से एक रोशनी निकल रही है। उन्होंने गुलाबी साड़ी पहनी है और चेहरे पर सदा की तरह ख़ुशी झलक रही है। सुबह ज़ूम पर सबके साथ उनसे बात हुई थी। दोपहर को भक्ति सूत्रों पर गुरूजी की सुंदर व्याख्या सुनी. विष्णु पुराण में विष्णु को महादेवी को समझाते हुए सुनना बहुत अच्छा लगता है। वह किसी भी बात से प्रभावित नहीं होते। हिरण्यकश्यपु उन्हें अपना शत्रु मानता है पर वह जानते हैं कि वह उनका द्वारपाल है. श्रीकृष्णा में अक्रूर जी को कृष्ण के भगवान होने का प्रमाण मिलने वाला प्रसंग दर्शनीय होगा. अमेरिका में एक अश्वेत के प्रति पुलिस की बर्बरता के खिलाफ हिंसा बढ़ती जा रही है. श्वेत भी इसका विरोध कर रहे हैं, पर इसके लिए वे गाड़ियों में आग क्यों लगते हैं, यह समझ से बाहर है. केरल में एक हथिनी की दर्दनाक मृत्यु की खबर सुनी, लोग कितने हृदयहीन हो सकते हैं. कल एक और तूफान निसर्ग महाराष्ट्र में आया पर ज्यादा नुकसान नहीं हुआ इसके कारण. यहाँ का मौसम अवश्य बादलों भरा हो गया है.